32 करोड़ का स्कॉलरशिप घोटाला आया सामने, 40 से ज्यादा स्कूलों और मदरसों पर FIR दर्ज, केंद्र की शिकायत के बाद एक्शन

MP News: भोपाल में 32 करोड़ का छात्रवृत्ति घोटाला सामने आया है. केंद्र की शिकायत के बाद क्राइम ब्रांच ने 40 से ज्यादा स्कूलों और मदरसों के खिलाफ मामला दर्ज किया है. इसके साथ पुलिस आरोपियों से इस मामले में पूछताछ करेगी
Symbolic picture

प्रतीकात्मक तस्वीर

MP News: मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक छात्रों को मिलने वाली छात्रवृत्ति में भारी घोटाला सामने आया है. पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय भारत सरकार से मिली शिकायत के बाद क्राइम ब्रांच ने शहर के 40 से ज्यादा मदरसों और स्कूलों के खिलाफ केस दर्ज किया है. करीब 32 करोड़ रुपये का घोटाला हुआ है. जानकारी के मुताबिक पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय, भारत सरकार की ओर से कक्षा 11वीं और 12वीं में पढ़ाई करने वाले छात्र-छात्राओं को सालाना 5,700 रुपये की छात्रवृत्ति दी जाती है.

आरोपियों से की जाएगी पूछताछ

इस छात्रवृत्ति का लाभ 40 से ज्यादा मदरसों और स्कूलों में पढ़ने वाले 1,100 छात्रों को दिया जा रहा था. जबकि इन मदरसों और स्कूलों की मान्यता महज 10वीं कक्षा की है. इन सभी मदरसों और स्कूलों में गलत तरीके से 11वीं और 12वीं कक्षा की मान्यता दिखाकर छात्रवृत्ति ली जा रही थी. मामला उजागर होने के बाद केंद्रीय मंत्रालय के अधिकारी ने क्राइम ब्रांच में शहर के 40 से ज्यादा मदरसों व स्कूलों के खिलाफ केस दर्ज कराया है. पुलिस इनकी मान्यता संबंधी जानकारी जुटा रही है. करीब 5,700 छात्रों के नाम पर 62 लाख रुपये का घोटाला किया गया है.

ये भी पढ़ें: MP: शिवपुरी में शादी के 18 घंटे बाद रिश्ता टूटा, यादव जाति की लड़की होने पर दूल्हे ने साथ रखने से इनकार किया

पुलिस अब स्कूलों और मदरसों को नोटिस जारी कर उनके संचालकों से पूछताछ करेगी. जिससे की उन्हें गिरफ्तार करने की कार्रवाई की जाए.

सरकार की कर चुकी है मदरसों की मान्यता की जांच

मध्य प्रदेश में पिछले साल मोहन सरकार ने प्रदेश भर के सभी मदरसों की जांच कराई थी. जिसमें ग्वालियर-चंबल सहित भोपाल के कई मदरसों में मान्यता के संबंध में कभी पाई गई थी. जिसके बाद एक्शन हुआ, अब मान्यता के बाद एक बड़े फर्जी बड़े को लेकर पुलिस जांच कर रही है. इसमें स्कूल शिक्षा विभाग से भी पुलिस जानकारी लेगी कि किन मदरसों को मान्यता दी गई है. किन्हें कितना भुगतान किया जाता है. इसके बारे में भी जानकारी इकट्ठा की जाएगी. इससे पहले राष्ट्रीय बाल आयोग ने भी मामले को लेकर राज्य सरकार से शिकायत की थी. सरकार इस मामले में फिर से एक बार मदरसों की जांच करने का आदेश जारी कर सकती है.

ज़रूर पढ़ें