Lok Sabha Election 2024: ‘परिणाम के बाद गठबंधन के लिए तैयार रहेगी BSP’, अलायंस पर आकाश आनंद ने जानिए क्या कहा

Lok Sabha Election 2024: BSP के राष्ट्रीय समन्वयक आकाश आनंद ने बताया कि इस बार चुनाव में वह किसी के साथ गठबंधन में नहीं हैं, लेकिन अगर किसी को गठबंधन देना पड़ा तो, तो उनकी रणनीति क्या होगी.
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BSP चीफ मायावती और आकाश आनंद

Lok Sabha Election 2024: देश में लोकसभा चुनाव के लिए दूसरे चरण के मतदान होने में सिर्फ 48 घंटे का ही समय बचा है. इस बीच उत्तर प्रदेश में सियासी हलचल तेज है. चुनाव प्रचार के बीच बहुजन समाज पार्टी(Bahujan Samaj Party) के राष्ट्रीय समन्वयक आकाश आनंद खुलकर पार्टी का पक्ष रख रहे हैं. इस बीच उन्होने एक इंटरव्यू में BSP के भविष्य पर बात की. इस दौरान उन्होंने बताया कि इस बार चुनाव में वह किसी के साथ गठबंधन में नहीं हैं, लेकिन अगर किसी को गठबंधन देना पड़ा तो, तो उनकी रणनीति क्या होगी.

आकाश आनंद बोले- दोनों गठबंधन के ट्रैक रिकॉर्ड बेहतर नहीं

BSP के राष्ट्रीय समन्वयक आकाश आनंद ने इंडियन एक्सप्रेस से बात करते हुए बताया कि उनकी पार्टी किसी के साथ गठबंधन नहीं कर सकती थी. उन्होंने अकेले चुनाव लड़ने के सवाल पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस के अगुवाई वाली विपक्षी ‘INDI’ गठबंधन और भारतीय जनता पार्टी के अगुवाई वाली NDA के पिछले बार के ट्रैक रिकॉर्ड नौकरियों, विकास आदि जैसे मुद्दों को लेकर बेहतर नहीं रहे हैं. इसलिए उनकी पार्टी किसी के साथ गठबंधन नहीं कर सकती थी.

समय के हालात तय करेंगे कि क्या करना है- आकाश आनंद

आकाश आनंद से जब पूछा गया तो अगर चुनाव परिणामों में गठबंधन की स्थिति बनती है, तो वह इसका फैसला वह चुनाव परिणाम सामने आने के बाद ही लेंगे कि गठबंधन की स्थिति आती है तो हमें किसके साथ जाना है. इस दौरान आकाश आनंद ने साफ किया कि बहनजी(मायावती) इस बात को लेकर पूरी तरह क्लियर हैं कि BSP परिणाम के बाद गठबंधन के लिए तैयार रहेगी और यह उस समय के हालात तय करेंगे कि क्या होना है.

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‘हम भी कह सकते हैं कि BSP का उम्मीदवार मजबूत था’

एक सवाल के जवाब में आकाश आनंद ने कहा कि हम भी कह सकते हैं कि BSP का उम्मीदवार मजबूत था लेकिन सपा-कांग्रेस ने वोट काटने के लिए उम्मीदवार खड़ा कर दिया. 2014 में जब BSP ने यूपी में अकेले चुनाव लड़ा था, तब ऐसा हुआ भी था. उस समय सपा और कांग्रेस ने भी अपने उम्मीदवार उतारे थे. हमने अपना वोट शेयर बराबर रखा लेकिन कोई सीट नहीं जीत सके, क्योंकि उन्होंने हमारे वोट काट लिए. अगर इस नजरिए से देखे तो सपा और कांग्रेस दोनों ही वोट काटती हैं.

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